साइलेंज क्या होता है?| what is silage ? पशुओं के अनुसार एक बड़े गड्ढे में हरे चारे को हवा रहित परिस्थिति में रखा जाता है इसमें 45 दिन में लेटिक अम्ल बन जाता है जो हरे चारे का पीएच कम कर देता है हरे चारे को सुरक्षित रखता है यह सुरक्षित हरे चारे को साइलेज कहते हैं साइलेंज बनाने के लिए ऐसे हरे चारे जिसमें सुख पदार्थ की मात्रा 25, 30% हो उसे कुटी बनाकर बड़े गड्ढे में दबा दबा कर इस तरह भरा जाता है कि कटे हुए चारे के बीच मे हवा ना रहे, अच्छी बनी हुई साइलेज का पीएच मान 4.5 होता है और नमी 65-75 % होती है और यह पोषक तत्वों में हरे चारे के समान होता है अच्छी साइलेज मे लेकिटल अम्ल 3 से 14 परसेंट होता है ब्यूटारिक अम्ल 0.2% होता है मक्का सायलेज मे फॉर्मेटेड दाना होता है
इसलिए पशु को इसमें ज्यादा पोषण मिलता है 1kg सायलेज की कीमत 4,5,6 Rs तक होती है और अलग-अलग जगा के हिसाब से प्राइज अलग अलग रहती हैअच्छे दूध उत्पादन के लिए दुधारु पशुओं को पौष्टिक दाने के साथ हरा चारा खिलाना बहुत जरुरी है
(1)फसल की कुटी करना(2) गड्ढों की भराई(3)फसल को पैरों से दबाकर भरना या ट्रैक्टर चलाकर दबाना(4) गुड के सिरे का छिड़काव करना और kemin company का inoculant उपयोग कर सकते हैं(5) पॉलीथिन से ढकना(6) 45 दिन में सायलेज तैयार(7) पशुओं को खिलाना
पशुओं के संतुलित आहार के लिए सूखा और गिला चारा एक निश्चित मात्रा में देना चाहिए सुखा चरा साल भर उपलब्ध रहता है लेकिन हरे चारे की उपलब्धता साल भर एक जैसी नहीं रहती ज्यादा सूखा चारा खिलाने से पशुओं में पोषक तत्वों की कमी हो जाती है
इसलिए दूध में भी कमी हो जाती है ,हरा चारा पशुओं के अंदर पोषक तत्वों की कमी को पूरा करता है एक दुधारू पशु जिस का औसत वजन 500 किलोग्राम हो उसे 25 किलोग्राम की मात्रा में साइलेज खिलाया जा सकता हैदुधारू पशुओं को भूसे की जगह साइलेंज खिलाया जाए तो दूध उत्पादन थोड़ा ज्यादा होता है
साइलेज बनाने के लिए फसलों का चुनाव:
दाने वाली फसलें जैसे मक्का, जवार ,जई,बाजरा
साइलेज बनाने के लिए उत्तम फसलें मानी जाती है
साइलेंज बनाने के लिए फसल की कटाई की अवस्था
- दाने वाली फसलों को साइलेंज बनाने के लिए जब उनका दाना दूधिया हो तब कटाई की जाती है
- इस अवस्था में चारे में 50 -70 परसेंट पानी रहता है अगर चारे में पानी की मात्रा ज्यादा हो तो चारे को थोड़ा सुखा देना चाहिए
- साइलेज बनाने के लिए गड्ढे का चुनाव कैसा करना चाहिए
- साइलेंज बनाने के लिए गड्ढे का चुनाव बहुत महत्वपूर्ण है
- गड्ढा हमेशा ऊंचे स्थान पर बनाना चाहिए क्योंकि बारिश का पानी गड्ढे पर गिरे तो अच्छी तरह पानी निकल जाना चाहिए
- साइलेज के लिए गड्ढा बनाओ वहां भूमिके पानी का स्तर नीचे होना चाहिए
- साइलेज बनाने का स्थान पशुशाला के नजदीक होना चाहिए तो साइलेंट लेने में आसानी रहेगी
गड्ढे बनाना
- साइलेंज बनाने के लिए गड्ढे कई प्रकार के होते हैं
- बंकर साइलो, पिट साइलो एवं टावर साइलो में बनाया जाता है
- साइलो गड्ढे से अधिकतम वायु को निष्कासित कर देना चाहिए ।
- गड्ढों का आकार चारे और पशु की संख्या के अनुसार निर्भर होता है
- गड्ढों के दीवार और फर्श पर सीमेंट से फ्राई कर देनी चाहिए या तो एक बड़ी प्लास्टिक श्रीपाल से गड्ढे को कवर कर देना चाहिए
गड्ढों को भरना तथा बंद करना
- जिस चेहरे का साइलेज बनाना है वह चारे को खेत में काट के थोड़ी देर सुखा देना चाहिए जब चारे में नमी 70% तक रही जाए तब चारा काटने की मशीन से चारे की कुटी कर लेनी चाहिए
- चारे की कटिंग 4 से 5 सेंटीमीटर तक की करनी चाहिए चारे की कटिंग को अच्छी तरह गड्ढे में दबाकर भर लेना चाहिए छोटे गड्ढे में पैरों से दबाकर भर सकते हैं जबकि बडे गड्ढे में ट्रैक्टर को चलाकर दबाना पड़ता है जब तक जमीन से लगभग 1 मीटर तक का ऊंचा ढेर ना बन जाए तब तक भराई करते रहना चाहिए ऊपर से गोलाकार बन जाए उसके बाद पॉलिथीन से ढक के ऊपर मिट्टी से अच्छी तरह दबा देना चाहिए और ऊपर से अच्छी तरह लिपाई कर देनी चाहिए ताकि इसमें बाहर से पानी तथा वायु ना जा सके
साइलेज के गड्ढों को खोलना
- गड्ढे भरने के 3 महीने बाद गड्ढे को खोलना चाहिए
- खोलते समय ध्यान रखने की साइलेंज एक तरफ से परतो में निकाला जाए और गड्डी का कुछ हिस्सा ही खोला जाए और बाद में उसे ढक दें साइलेज को गढ़े में से निकालने के बाद थोड़ी देर में पशुओं को खिला देना चाहिए और दूसरे दिन वापस गड्ढा खोलने से पहले आपको ध्यान देना चाहिए कि कहीं फंगस लगा हुआ है कि नहीं जो फंगस जैसा दीखे तो उसको निकाल कर फेंक देना चाहिए
पशु को खिलाना नहीं चाहिए क्योंकि फंगस वाला साइलेज खाने से पशु बीमार हो सकता है
सभी प्रकार के पशु को साइलेंज खिलाया जा सकता है जो हरा चारा ना हो तो साइलेंज खिलाना बेस्ट है
साइलेंज हरा चारा भुसा और अच्छी कंपनी का फीड सभी अच्छी मात्रा में पशु के बॉडी ओर दुध के हिसाब से दिया जाए तो हम पशु से अच्छी मात्रा में दूध प्राप्त कर सकते हैं और पशु का बॉडी भी अच्छी तरह मेंटेन रहता है
साइलेज के लिए मक्का बीज का चुनाव
साइलेज के लिए खेत में मक्का के बीज अच्छी कंपनी का बोना चाहिए
ऐसे सीड सिलेक्ट करें जो कम समय में और ज्यादा पैदावार दे
Foragen comany का साइलेज मास्टर
यह बीज साइलेंट के लिए बहुत अच्छे आते हैं और इनका पैकेट 1kg और 4kg में मिलता है
मक्का ग्रो करने के बाद 70 डेज में काटने लायक हो जाता है यह बीज स्पेशली एनिमल चारे के लिए होता है
साथ ही इस कंपनी में डेयरी के लिए चारे का बीज भी बहुत अच्छी क्वालिटी का मिलता है जिसमें प्रोटीन की मात्रा ज्यादा रहती ओर जो चारे में प्रोटीन की मात्रा ज्यादा होती है वह गाय भैंस को देने से दूध में बढ़ोतरी होती है
मेरा अनुभव : पशुओं के लिए समर मे न्यूट्रीफीड चारा
ओर विंटर में चिकलेट और मक्खन घास और रजका बहुत अच्छा होता है
एक और दूसरी कंपनी है pioneer वह कंपनी का मक्का बीज साइलेज बनाने के लिए बहुत अच्छा आता है
एक बार साइलेज बनाने के बाद पशुओं को पूरे साल भर हरा चारा मिल सकता है
निषकर्ष :साइलेंज क्या होता है?
दोस्तो इस लेख में मेने साइलेंज क्या होता है?| what is silage ? सायलेज केसे बनाये वो जानकारी दी हें मुजे उमीद हें मेरा यह लेख आपको पढके समज में आगया होगा सायलेज केसे बनाये पसुपालन के संभंदित इसी प्रकार के लेख पढने के लिए मेरे ब्लॉग myknowledgeinfo.com को विजिट करते रहे मेरा यह लेख पढ़ने के लिए आपका धन्यवाद ||
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